26 नवंबर फतेहपुर
संविधान रक्षक समाचार सेवा
कलेक्ट्रेट महात्मा गॉंधी सभागार में जिलाधिकारी श्री रविन्द्र सिंह की अध्यक्षता में संपन्न हुई। जिला पंचायत राज अधिकारी को निर्देश दिये कि गंगा के किनारे बने घाटो की नियमित साफ–सफाई कराये, साथ ही कूड़ा पात्र में पड़े कूड़ा का निस्तारण नियमित कराये एवं घाटों में प्रकाश व्यवस्था सुनिश्चित करने के लिए जो आवश्यक समाग्री की आवश्यकता है, की अधिशासी अभियंता विद्युत से समन्वय बनाकर रिपोर्ट से अवगत कराये। उन्होंने कहा कि पक्के घाटों व कच्चे घाटों की सूची उपलब्ध कराये जहाँ स्नानार्थी गंगा स्नान के लिए जाते है। उन्होंने जिला पंचायत राज अधिकारी, ईओ को निर्देश दिये कि ग्रामीण/शहरी इलाके से यदि गंगा–यमुना/सहायक नदियों में ड्रेनेज का निस्तारण हो रहा है, का सर्वे कर रिपोर्ट से अवगत कराये साथ ही ड्रेनेज का ट्रीटमेंट कैसे किया जा सकता है के सुझाव भी उपलब्ध कराये। उन्होंने कहा कि गंगा की धारा को स्वच्छ, अविरल बनाये रखने हेतु शासन द्वारा निर्धारित गंगा ग्रामो में समिति का गठन कर नागरिकों को जागरूक किया जाय। उन्होंने कहा की घाटो के किनारे पालीथीन के उपयोग न करने की वाल पेंटिंग कराये। हाजीपुर गंग एवं खुसरुपुर घाट पर आम जन मानस को घाट तक पहुँचने मे हो रही असुविधा को देखते हुए सांकेतिक बोर्ड लगाने के निर्देश अधिशासी अभियंता पीडब्लूडी को दिये साथ ही मार्ग जो खराब है के मरम्मतीकरण के लिए सम्बंधित खंड विकास अधिकारी स्थलीय निरीक्षण कर रिपोर्ट से अवगत कराये। भिटौरा के पक्के घाट का जीर्णोद्वार एवं शिवराजपुर घाट के पक्के घाट के निर्माण हेतु डीपीआर प्रस्तुत करने के निर्देश सम्बंधित को दिये।
जिला पर्यावरण समिति की बैठक में ठोस अपशिष्ट प्रबंधन, जैव चिकित्सा अपशिष्ट, ई–वेस्ट प्रबंधन, सिंगल यूज प्लास्टिक की रोकथाम आदि बिंदुओं पर विस्तार से समीक्षा की।
इस अवसर पर मुख्य विकास अधिकारी पवन कुमार मीना, अपर जिलाधिकारी न्यायिक धीरेंद्र प्रताप, मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा0 राजीव नयन गिरी, डीएफओ रामानुज त्रिपाठी, जिला विकास अधिकारी प्रमोद सिंह चंद्रौल, डीडीएजी राममिलन सिंह परिहार, जिला पंचायत राज अधिकारी उपेंद्र राज सिंह, मुख्य पशु चिकित्सा अधिकारी नवल किशोर सचान, नामित सदस्य/संयोजक नमामि गंगे शैलेन्द्र शरन सिंपल, नामित सदस्य दीपक श्रीवास्तव, कुलदीप सिंह समस्त ईओ सहित सम्बंधित उपस्थित रहे।