माननीयों के घन घनाते रहे फोन नहीं चला जुगाड

फतेहपुर जनपद में विद्युत विभाग द्वारा विद्युत चोरी रोकथाम अभियान के क्रम में विभाग को वृहस्पतिवार को बड़ी सफलता मिली मुखबिर की सूचना पर तेज तर्रार एसडीओ चौडगरा अंशुल शर्मा द्वारा बिना किसी को जानकारी दिए दल बल के साथ मौके में पहुंच कर उपखण्ड क्षेत्र चौडगरा के हरसिंगपुर , रामपुर, खदरा रोड पर स्थित मोबाइल टावरों में विद्युत चोरी करते मौके से धर दबोचा जिसके बाद माननीयों के फोन घन घनाने लगे लेकिन जुगाड के सहारे चोरी को अंजाम देने वालों की एक न चली।

इस बावत उपखण्ड अधिकारी अंशुल शर्मा नें बताया कि चोरी की सूचना पर मौके में टीम के साथ पहुंच कर तीन मोबाइल टावरों से बिजली चोरी करते पाया गया। रिलायंस कम्पनी के 2 टावरों में 24kw का विद्युत का अवैध कनेक्शन प्रयोग करते पाया गया है।
पूर्व में 30.50 लाख बिल बकाया पर विभाग द्वारा कनेक्शन काट कर मीटर उतारे गए थे।
वहीं एक अन्य रिलायंस टावर में 16kw के कनेक्शन पर 20.88 लाख बकाया होने पर विच्छेदित करने के बाद भी संयोजन जुडा पाया गया है।
तीनों उपरोक्त प्रकरण में एक ही मोबाइल टावर संचालक आदर्श कुमार का नाम जांच के दौरान संज्ञान में आया है टावर संचालक के विरुद्ध विधिक कार्रवाई की जा रही है।

कौन हैं अंशुल शर्मा

उपखण्ड अधिकारी अंशुल शर्मा हांथरस के पालीरजापुर निवासी हैं जिनकी प्राथमिक शिक्षा अलीपुर विद्यालय से करने के बाद इंटरमीडिएट गणित से सरस्वती विद्या मंदिर हांथरस से पूरी की बाद में गाजियाबाद से बीटेक की पढ़ाई की मध्यम वर्गीय परिवार के अंशुल शर्मा नें डिप्लोमा के दौरान पूरे उत्तर प्रदेश में टाप 3 रैंक में आनें पर गांव नाम पहली बार रौशन किया था।

क्या हैं 2020 की ड्रोन वाली मिस्ट्री, हिल गया विभाग!

मथुरा उपखण्ड कैंट कार्यालय में पोस्टिंग के दौरान सन् 2020 में विद्युत विभाग द्वारा कोविड -19 के समय बिजली चोरी रोकथाम धर पकड़ अभियान के साथ बकाया वसूली जमा कराने का लक्ष्य था। जिससे निजीकरण की ओर सरकार कदम न बढाए ज्यादा से ज्यादा वसूली हो जिससे विभाग को राहत मिल सके, घनी आबादी के बीच कई समस्याओं को ध्यान में रखकर तेज तर्रार श्री शर्मा द्वारा ऐसे में नई तरकीब ईजाद करते हुए ड्रोन कैमरे से आठ घरों की बिजली चोरी पकड ली। जिसकी जानकारी मिलते ही ऊपर से लेकर नीचे तक के जिम्मेदार हिल गए। विभागीय अधिकारी हतप्रभ हो गए साथ ही कार्रवाई से खुद को अलग कर लिया, जिसके बाद आनन फानन में बड़े अधिकारियों ने आगे से दुबारा ऐसा न करने की सलाह के साथ चेतावनी दी। जिसके बाद ड्रोन मिस्ट्री मैन के नाम से विभाग में पहचान बन गई। बाद में ड्रोन से विद्युत चोरी की तरकीब का प्रयोग 2022 में लखनऊ शहर में शुरू हुआ और कर्मचारियों पुरस्कार देकर सम्मानित भी किया गया। लेकिन इस सबके जनक के रुप में विभाग में विख्यात अंशुल को मिली तो सिर्फ शाबाशी की जगह मायूसी।

एक बार फिर मोबाइल टावर संचालक पर कार्रवाई कर एसडीओ चौडगरा ने अपने पुराने तेवर दिखाई दे रहें।
जिससे बिजली चोरों के साथ बड़े बकायदारों में हडकम्प मचा हुआ है।

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