फतेहपुर प्रेक्षागृह सभागार में जिलाधिकारी फतेहपुर की अध्यक्षता में जनपद स्तरीय खारीफ गोष्ठी, अन्न (मिलेट्स) कृषक जागरूकता कृषक प्रशिक्षण का आयोजन किया गया, जिसमे विकास गुप्ता मा० विधायक अयाह शाह, जिला विकास अधिकारी उप कृषि निदेशक, जिला कृषि अधिकारी, भूमि संरक्षण अधिकारी (रा०जला), डी०डी०एम० नाबार्ड, डा०जितेन्द्र सिंह, कृषि वैज्ञानिक, कृषिविज्ञान चन्द्र थरियाय प्रदीप द्विवेदी, सी०ई०ओ०, न्यूट्रीलाइज एग्रो फूड, नोएडा (मिलेट्स) अधिशाषी अभियन्ता सिचाई, मुख्य पशुचिकित्साधिकारी सहित विभिन्न विभागों के अधिकारी, व कृषकगण एवं प्रगतिशील किसानों ने भाग लिया। जिलाधिकारी महोदया एवं विकास गुप्ता, विधायक, अयाह शाह द्वारा दीप प्रज्जवलन कर कार्यक्रम का शुभारम्भ किया गया।
उप कृषि निदेशक, फतेहपुर राम मिलन सिंह परिहार ने कार्यक्रम संचालन करते हुए कार्यक्रम का संक्षिप्त विवरण एवं उपस्थित समस्त अधिकारियों एवं ना० विधायक जी का स्वागत एवं माल्यापर्ण कर कर शासन द्वारा संचालित लाभार्थी परख योजनाओं की जानकारी, उत्पादकता को बढ़ावा दिये जाने, अवर्षण की स्थिति में बोई जाने वाली फसलों की जानकारी, पी०एम० किसान सम्मान निधि योजना के अन्तर्गत लेख अंकन ई-केवाईसी व कृषकों को अपना खाते को आधार से लिंक (एन.पी. सी. आई) कराये जाने, सोलर पम्प योजना के अन्तगत अनुदान एवं अन्य जानकारी, कृषि यंत्रीकरण योजना के अर्न्तगत अनुमन्य लाभ प्राप्त किये जाने हेतु कृषकों को अपना पंजीयन पारदर्शी किसान पोर्टल (दर्शन पोर्टल) पर कराये जाने का अनुरोध / सुझाव दिया गया. इसके उपरान्त फसल बीमा योजना एवं मिलेट्स के बारे में विस्तार पूर्वक जानकारी कृषकों को उपलब्ध करायी गयी।
डा० जितेन्द्र सिंह, कृषि वैज्ञानिक, कृषि विज्ञान केन्द्र द्वारा जल संचयन, हरी खाद हेतु देवा की कुआई करने एवं मृदा प्रबन्धन एवं जैविक खाद के अधिक प्रयोग की जानकारी तथा कृषक वैज्ञानिक संवाद के माध्यम से अपने व कृषकों के अनुभवों को सीधे कृषक / वैज्ञानिक संवाद के माध्यम से जारी कृषकों के मध्य साझा की गयी। कृषकों को जैविक एवं हरी खाद प्रयोग कर खेती किये जाने हेतु प्रेरित किया गया। कमलेश, मत्स्य निरीक्षक द्वारा मत्स्य पालन विभाग में संचालित विभागीय योजना यथा प्रधानमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना, मुख्यमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना आदि की विस्तृत जानकारी कृषकों को उपलब्ध करते हुए मत्स्य पालन कर अपनी आय को बढाये जाने हेतु प्रेरित किया गया।
विकास गुप्ता . विधायक, अयाह शाह द्वारा शासन द्वारा चलायी जा रही लाभार्थी पर योजनाओं की जानकारी एवं सरकार की उपलब्धियों की जानकारी उपलब्ध करायी गयी. इसके साथ ही कृपकों को यह भी अवगत कराया गया कि मा० प्रधानमंत्री द्वारा आयोजित “मन की बात संवाद कार्यक्रम के माध्यम से कृपको एवं भारत की जनता से सीधे संवाद के माध्यम से सरकार द्वारा चलायी जा रही लाभार्थी परख योजनाओं के बारे में जानकारी उपलब्ध कराते हुए संवाद स्थापित कर अनुभव साझा किये जा रहें है।
प्रदीप द्विवेदी, सी०ई०ओ० न्यूट्रीलाइज एग्रो फूड, नोएडा (मिलेट्स) द्वारा मोटे अनाज की बुआई, विपणन एवं उसके लाभ आदि के बारे कृषकों को विस्तार से बताया गया चिया, किनवा आदि मोटे अनाज को कम लागत पर ऊसर भूमि पर भी बोया जा सकता है इसके साथ ही कृषकों को मिलेट्स(माटे अनाज) यथा ज्वार, बाजरा, रागी कोदो, सावा, चिया, किनवा आदि को बोने तथा उसके लाभ के बारे में बताया गया। ज्वार फसल के लाभ के बारे में यह बताया गया कि ज्वार मुख्य शुष्क क्षेत्रों का पारंपरिक मुख्य भोजन है। यह कीट एवं रोग प्रतिरोधी फसल है, प्यार में प्रोटीन, विटामिन, रेशा, थायमिन, राइबोफ्लेविन, फोलिक अम्ल, पोटैशियम आदि लाभाकारी गुण प्रचुर मात्रा में पाये जाते है। कोदों बारे में बताया गया कि इस फसल में सबसे अधिक रेशे होते है. इसमें फाइबर, प्रोटीन, वसा की मात्रा बहुत कम होती है, जिससे यह जल्दी पचने में सहायक होता है। साया फसल में प्रोटीन एवं फाइवर प्रचुर मात्रा में पाया जाता है, इस अनाज में फैटी जिनोलिक, पाल्मीटिक व ओलिक एसिड पाये जाते है आजकल मधुमेह रोग के देखते हुए सांवा एक आदर्श आहार बन सकता है। बाजरा शुष्क एवं उष्ण क्षेत्र में न्यूनतम उपजाऊ भूमि में भी पैदा होने वाली महत्वपूर्ण खाद्य फसल है, इसमें ऐसे जैव रसायन पाये जाते हैं, जो कोलेस्ट्रॉल का स्तर कम करने में सक्षम है। इसके साथ ही द्विवेदी द्वारा ऐसी गुणकारी मिलेट्स फसलों को बोये जाने एवं उनके फसल तैयार हो जाने के उपरान्त उनके संचालित एफ०पी०ओ० के माध्यम से विपणन किये जाने से भी अवगत कराया गया। इसके अतिरिक्त सहजन को बोने हेतु कृषक को प्रेरित किया गया। श्री प्रदीप द्विवेदी जी द्वारा कृषकों या मध्य अपना मोबाइल नम्बर 9543885143 को साझा कर मिलेट्स फसल की बुआई विपणन आदि की समस्या आने पर सुझाव / वार्ता किये जाने अनुरोध किया गया।
जिलाधिकारी महोदया द्वारा कृषकों को कृषि निवेश व्यवस्था, उर्वरक व्यवस्था आदि के बारे में जानकारी उपलब्ध करायी गयी, इसके साथ ही यह भी बताया गया कि जनपद स्तर पर मिलेट्स को बोये जाने हेतु अर्न्तराष्ट्रीय मिलेट्स वर्ष के अर्न्तगत मोटे अनाजों के क्षेत्रफल विस्तार हेतु मिनीकिट्स के रूप में कृषकों को निःशुल्क उपलब्ध कराया जा रहा है, जिसमें सांवा, कोदो, रागी, ज्वार एवं बाजरा के मिनीकिट कृषकों में निःशुल्क वितरित कराये गये है। नैनो यूरिया के प्रयोग को बढ़ावा देने के लिए सरकार द्वारा जनपद को 15000 बोतल का आंवटन किया गया है, कृषकों से अपील है कि द्वितीय पर्णीय छिड़काव में इसका प्रयोग करायें, जिसके सकारात्मक परिणाम प्राप्त हो रहे हैं।
खरीफ किसान गोष्ठी में प्रगतिशील किसान लोकनाथ पाण्डेय, रणविजय सिंह सहित भारी संख्या में किसान उपस्थित रहे।
फतेहपुर प्रेक्षागृह सभागार में जिलाधिकारी फतेहपुर की अध्यक्षता में जनपद स्तरीय खारीफ गोष्ठी, अन्न (मिलेट्स) कृषक जागरूकता कृषक प्रशिक्षण का आयोजन किया गया, जिसमे विकास गुप्ता मा० विधायक अयाह शाह, जिला विकास अधिकारी उप कृषि निदेशक, जिला कृषि अधिकारी, भूमि संरक्षण अधिकारी (रा०जला), डी०डी०एम० नाबार्ड, डा०जितेन्द्र सिंह, कृषि वैज्ञानिक, कृषिविज्ञान चन्द्र थरियाय प्रदीप द्विवेदी, सी०ई०ओ०, न्यूट्रीलाइज एग्रो फूड, नोएडा (मिलेट्स) अधिशाषी अभियन्ता सिचाई, मुख्य पशुचिकित्साधिकारी सहित विभिन्न विभागों के अधिकारी, व कृषकगण एवं प्रगतिशील किसानों ने भाग लिया। जिलाधिकारी महोदया एवं विकास गुप्ता, विधायक, अयाह शाह द्वारा दीप प्रज्जवलन कर कार्यक्रम का शुभारम्भ किया गया।
उप कृषि निदेशक, फतेहपुर राम मिलन सिंह परिहार ने कार्यक्रम संचालन करते हुए कार्यक्रम का संक्षिप्त विवरण एवं उपस्थित समस्त अधिकारियों एवं ना० विधायक जी का स्वागत एवं माल्यापर्ण कर कर शासन द्वारा संचालित लाभार्थी परख योजनाओं की जानकारी, उत्पादकता को बढ़ावा दिये जाने, अवर्षण की स्थिति में बोई जाने वाली फसलों की जानकारी, पी०एम० किसान सम्मान निधि योजना के अन्तर्गत लेख अंकन ई-केवाईसी व कृषकों को अपना खाते को आधार से लिंक (एन.पी. सी. आई) कराये जाने, सोलर पम्प योजना के अन्तगत अनुदान एवं अन्य जानकारी, कृषि यंत्रीकरण योजना के अर्न्तगत अनुमन्य लाभ प्राप्त किये जाने हेतु कृषकों को अपना पंजीयन पारदर्शी किसान पोर्टल (दर्शन पोर्टल) पर कराये जाने का अनुरोध / सुझाव दिया गया. इसके उपरान्त फसल बीमा योजना एवं मिलेट्स के बारे में विस्तार पूर्वक जानकारी कृषकों को उपलब्ध करायी गयी।
डा० जितेन्द्र सिंह, कृषि वैज्ञानिक, कृषि विज्ञान केन्द्र द्वारा जल संचयन, हरी खाद हेतु देवा की कुआई करने एवं मृदा प्रबन्धन एवं जैविक खाद के अधिक प्रयोग की जानकारी तथा कृषक वैज्ञानिक संवाद के माध्यम से अपने व कृषकों के अनुभवों को सीधे कृषक / वैज्ञानिक संवाद के माध्यम से जारी कृषकों के मध्य साझा की गयी। कृषकों को जैविक एवं हरी खाद प्रयोग कर खेती किये जाने हेतु प्रेरित किया गया। कमलेश, मत्स्य निरीक्षक द्वारा मत्स्य पालन विभाग में संचालित विभागीय योजना यथा प्रधानमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना, मुख्यमंत्री मत्स्य सम्पदा योजना आदि की विस्तृत जानकारी कृषकों को उपलब्ध करते हुए मत्स्य पालन कर अपनी आय को बढाये जाने हेतु प्रेरित किया गया।
विकास गुप्ता . विधायक, अयाह शाह द्वारा शासन द्वारा चलायी जा रही लाभार्थी पर योजनाओं की जानकारी एवं सरकार की उपलब्धियों की जानकारी उपलब्ध करायी गयी. इसके साथ ही कृपकों को यह भी अवगत कराया गया कि मा० प्रधानमंत्री द्वारा आयोजित “मन की बात संवाद कार्यक्रम के माध्यम से कृपको एवं भारत की जनता से सीधे संवाद के माध्यम से सरकार द्वारा चलायी जा रही लाभार्थी परख योजनाओं के बारे में जानकारी उपलब्ध कराते हुए संवाद स्थापित कर अनुभव साझा किये जा रहें है।
प्रदीप द्विवेदी, सी०ई०ओ० न्यूट्रीलाइज एग्रो फूड, नोएडा (मिलेट्स) द्वारा मोटे अनाज की बुआई, विपणन एवं उसके लाभ आदि के बारे कृषकों को विस्तार से बताया गया चिया, किनवा आदि मोटे अनाज को कम लागत पर ऊसर भूमि पर भी बोया जा सकता है इसके साथ ही कृषकों को मिलेट्स(माटे अनाज) यथा ज्वार, बाजरा, रागी कोदो, सावा, चिया, किनवा आदि को बोने तथा उसके लाभ के बारे में बताया गया। ज्वार फसल के लाभ के बारे में यह बताया गया कि ज्वार मुख्य शुष्क क्षेत्रों का पारंपरिक मुख्य भोजन है। यह कीट एवं रोग प्रतिरोधी फसल है, प्यार में प्रोटीन, विटामिन, रेशा, थायमिन, राइबोफ्लेविन, फोलिक अम्ल, पोटैशियम आदि लाभाकारी गुण प्रचुर मात्रा में पाये जाते है। कोदों बारे में बताया गया कि इस फसल में सबसे अधिक रेशे होते है. इसमें फाइबर, प्रोटीन, वसा की मात्रा बहुत कम होती है, जिससे यह जल्दी पचने में सहायक होता है। साया फसल में प्रोटीन एवं फाइवर प्रचुर मात्रा में पाया जाता है, इस अनाज में फैटी जिनोलिक, पाल्मीटिक व ओलिक एसिड पाये जाते है आजकल मधुमेह रोग के देखते हुए सांवा एक आदर्श आहार बन सकता है। बाजरा शुष्क एवं उष्ण क्षेत्र में न्यूनतम उपजाऊ भूमि में भी पैदा होने वाली महत्वपूर्ण खाद्य फसल है, इसमें ऐसे जैव रसायन पाये जाते हैं, जो कोलेस्ट्रॉल का स्तर कम करने में सक्षम है। इसके साथ ही द्विवेदी द्वारा ऐसी गुणकारी मिलेट्स फसलों को बोये जाने एवं उनके फसल तैयार हो जाने के उपरान्त उनके संचालित एफ०पी०ओ० के माध्यम से विपणन किये जाने से भी अवगत कराया गया। इसके अतिरिक्त सहजन को बोने हेतु कृषक को प्रेरित किया गया। श्री प्रदीप द्विवेदी जी द्वारा कृषकों या मध्य अपना मोबाइल नम्बर 9543885143 को साझा कर मिलेट्स फसल की बुआई विपणन आदि की समस्या आने पर सुझाव / वार्ता किये जाने अनुरोध किया गया।
जिलाधिकारी महोदया द्वारा कृषकों को कृषि निवेश व्यवस्था, उर्वरक व्यवस्था आदि के बारे में जानकारी उपलब्ध करायी गयी, इसके साथ ही यह भी बताया गया कि जनपद स्तर पर मिलेट्स को बोये जाने हेतु अर्न्तराष्ट्रीय मिलेट्स वर्ष के अर्न्तगत मोटे अनाजों के क्षेत्रफल विस्तार हेतु मिनीकिट्स के रूप में कृषकों को निःशुल्क उपलब्ध कराया जा रहा है, जिसमें सांवा, कोदो, रागी, ज्वार एवं बाजरा के मिनीकिट कृषकों में निःशुल्क वितरित कराये गये है। नैनो यूरिया के प्रयोग को बढ़ावा देने के लिए सरकार द्वारा जनपद को 15000 बोतल का आंवटन किया गया है, कृषकों से अपील है कि द्वितीय पर्णीय छिड़काव में इसका प्रयोग करायें, जिसके सकारात्मक परिणाम प्राप्त हो रहे हैं।
खरीफ किसान गोष्ठी में प्रगतिशील किसान लोकनाथ पाण्डेय, रणविजय सिंह सहित भारी संख्या में किसान उपस्थित रहे।